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SPCL-2458-H :YUGAL SHRISHTI
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Description :
कालदूत से प्रेम करने वाली सर्प संज्ञा, सर्प गंधा और सर्प प्रिया ने प्रतिशोध स्वरुप कालदूत की संधि को विच्छेद कर दिया| अब उनके प्रेम के बीच कोई दीवार बाकी ना थी| अपने युगों युगों के प्रेम के साथ सुखमय जीवन बिताने के लिए तीनों महानागिनों ने किया एक और स्वर्ग का निर्माण किन्तु इस नए स्वर्ग ने खड़ी कर दी सम्पूर्ण सृष्टि के सामने तबाही की विभीषिका| क्या कर्तव्य पुरुष कालदूत इस तबाही को रोकेंगे या अपनी इन महा क्रोधिनी प्रेमिका नागिनों के साथ स्वर्ग का आनंद उठाएंगे|
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Thursday, February 4, 2016
SPCL-2458-H :YUGAL SHRISHTI
Labels:
Hindi Comics,
Kaaldut,
Nagraj,
Raj Comics,
RC-2011 Set 4
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